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क्या होता है अल्फा मेल? जिसे लेकर ट्रोल हो रहे एनिमल के डायरेक्टर..!

मनोरंजन जगत

क्या होता है अल्फा मेल? जिसे लेकर ट्रोल हो रहे एनिमल के डायरेक्टर..!

मनोरंजन जगत//Maharashtra/Mumbai :

एनिमल में रणबीर कपूर का किरदार कार्बन डाई ऑक्साइड से ज्यादा सिगरेट का धुआं छोड़ता है, पत्नी को मारता है, दूसरी महिला से संबध बनाता है और स्त्रियों के प्रति दमनकारी भाव भी रखता है। सवाल ये है कि क्या इस तरह से अपनी मर्दानगी पेश करने वाला आदमी ‘अल्फा मेल’ होता है? 

साल 2023 का आखिरी महीना शुरू हुआ और फिल्म लवर्स का इंतजार खत्म। 1 दिसंबर को बड़े पर्दे पर संदीप रेड्डी वांगा की एनिमल दर्शकों को रिझाने के लिए तैयार थी। कड़ाके की ठंड में सुबह का पहला शो और थिएटर के बाहर खड़ी भीड़ बता रही थी कि रणबीर कपूर को लेकर लोग कितने ज्यादा उत्साहित हैं! करीब साढ़े तीन घंटे बाद फिल्म देखकर भीड़ थिएटर के बाहर निकली, फिर शुरू हुई सवालों की बरसात। मूवी को लेकर सोशल मीडिया पर तरह-तरह के ट्रेंड शुरू हो गए। किसी ने फिल्म की तारीफ में कसीदे पढ़े, तो किसी ने रिव्यू देने से मना कर दिया!

एनिमल पर शुरू हुई बहस ने भीड़ को कई हिस्सों में बांट दिया। लोग अपने-अपने ओपिनियन के साथ तितर-बितर हो गए। फिल्म ने किसी को मनोरंजन दिया, किसी को थ्रील दिया, किसी के हिस्से में सवाल आए और कइयों को ना-उम्मीदी भी मिली!
संदीप रेड्डी वांगा से क्या है लोगों की शिकायत?
इन सबसे अलग हम बात संदीप रेड्डी वांगा की करेंगे। अर्जुन रेड्डी और कबीर सिंह जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्म देने वाले डायरेक्ट संदीप वांगा एक बार फिर अपने प्रोटागोनिस्ट या हीरो के क्राफ्ट को लेकर आलोचनाओं के घेरे में हैं। कुछ लोगों को एनिमल में दिखने वाला रणबीर कपूर का किरदार कुछ हद तक कबीर सिंह का अपडेटेड वर्जन लगता है। रणबीर कपूर के इस किरदार को फिल्म के अल्फा मेल की तरह प्रोजेक्ट किया गया है! हालांकि, एक सीन में रणबीर खुद ‘अल्फा मेल’ की परिभाषा बताते हुए नजर आते हैं।
वांगा के अल्फा मेल से सहमत नहीं
इसी ‘अल्फा मेल’ शब्द को लेकर संदीप रेड्डी वांगा से कुछ लोग नाराज हैं। आइए जानते हैं आखिर यह ‘अल्फा मेल’ क्या बला है? एनिमल में रणबीर कपूर का किरदार कार्बन डाई ऑक्साइड से ज्यादा सिगरेट के धुंए छोड़ता है, पत्नी को मारता है, दूसरी महिला से संबंध बनाता है और स्त्री के प्रति दमनकारी भाव भी रखता है। सवाल ये है कि क्या इस तरह से अपनी मर्दानगी पेश करने वाला आदमी ‘अल्फा मेल’ होता है? ये तो फिल्म की बात हो गई। लेकिन असल में विद्वानों ने ‘अल्फा मेल’ के लिए क्या परिभाषा गढ़ी है अब उसे भी जान लेते हैं।
कौन होते हैं अल्फा मेल?
ऑक्सफोर्ड लर्नर्स डिक्शनरी के मुताबिक, किसी स्पेशल ग्रुप का वह आदमी जिसके पास सबसे अधिक ताकत हो वो अल्फा मेल होता है। यहां एक और परिभाषा मिलती है। जिसमें कहा जाता है कि एक ऐसा इंसान जो सामाजिक और व्यावसायिक स्थितियों पर अपना कंट्रोल रखता है वो अल्फा मेल होता है।
क्या होते हैं अल्फा मेल के गुण?
1. कई विद्वानों का कहना है कि अल्फा मेल आत्मविश्वास से भरा हुआ इंसान होता है। उसे अपनी ताकत और क्षमताओं पर पूरा भरोसा होता है। अल्फा मेल का कैरेक्टर जिसमें होता है वो खुद पर संदेह करना छोड़कर नई चुनौतियों के लिए तैयार रहता है।
2. अल्फा मेल में नेचुरल लीडरशिप क्वालिटी होती है। वो लोगों को अच्छे से गाइड करना जानता है। वो परिस्थितियों का आकलन करने में तेज होते हैं और मुश्किल फैसले लेने के लिए तैयार रहते हैं। मजबूत बॉडी लैंग्वेज वाले ये लोग प्रभावी ढंग से अपनी बात रखते हैं।
3. अल्फा मेल बिना आक्रामकता के हेल्दी कंपटीशन में भाग लेते हैं। जब जरूरत होती है, तब ये ‘ना’ कहना और पीछे हटना भी अच्छे से जानते हैं। ये अपने लक्ष्य पर पहुंचने के लिए खूब मेहनत भी करते हैं। चाहे वो रिलेशनशिप हो या व्यवसाय हर चीज के लिए इनकी तैयारी दुरुस्त रहती है।
ये वो तमाम खूबियां हैं, जो एक ‘अल्फा मेल’ में देखने को मिलती है। हालांकि, कबीर सिंह और एनिमल के हीरो ये खूबियां अपने साथ जरूर रखते हैं लेकिन वो उन खामियों से भी लैस हैं, जिन्हें समाज बुरा मानता है। जैसे शराब-सिगरेट पीना, दूसरी औरत के साथ संबंध बनाना, बात-बात पर आक्रामक होना या स्त्रियों पर हिंसा करना।
क्या कहते हैं फिल्म क्रिटिक?
कई फिल्म क्रिटिक ऐसा भी मानते हैं कि शायद संदीप रेड्डी वांगा अपने प्रोटागोनिस्ट को सामाजिक परफेक्शन के ढ़ांचे में ढालने से बचते हैं क्योंकि दुनिया में आदर्श पुरुष जैसा कुछ नहीं होता है। यानी बड़े से बड़े हीरो में भी खामियां हो सकती हैं और कोई इंसान तमाम खामियों के बाद भी ‘हीरो’ हो सकता है!
 

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author

Jyoti Bala

By News Thikhana

Senior Sub Editor

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