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तेजस और ब्रह्मोस ही नहीं, अर्जेंटीना को भारत से चाहिए और भी ‘बहुत कुछ’

सेना

तेजस और ब्रह्मोस ही नहीं, अर्जेंटीना को भारत से चाहिए और भी ‘बहुत कुछ’

सेना//Delhi/New Delhi :

भारत और अर्जेंटीना एक बड़ी डिफेंस डील करना चाहते हैं। पिछले महीने अर्जेंटीना के रक्षामंत्री भारत आए थे। उन्होंने यहां ब्रह्मोस और तेजस फाइटर जेट खरीदने की इच्छा जताई थी। अर्जेंटीना के राजदूत ने भी कहा है कि वह भारत को एक डिफेंस पार्टनर के तौर पर देखते हैं।

दक्षिण अमेरिकी देश अर्जेंटीना भारत से बड़े पैमाने पर हथियार खरीदना चाहता है। अर्जेंटीना तेजस लड़ाकू विमान और ब्रह्मोस मिसाइल खरीदने का इच्छुक है। पिछले महीने भारत की यात्रा पर आए अर्जेंटीना के रक्षा मंत्री जॉर्ज एनरिक तायाना ने तेजस और ब्रह्मोस फैसिलिटी का दौरा किया था। भारत में अर्जेटीना के राजदूत ह्यूगो जेविय गोब्बी ने भी अपने देश की इच्छा की पुष्टि की है। उन्होंने कहा कि अर्जेंटीना भारत से लड़ाकू विमान, सैन्य हेलिकॉप्टर और ब्रह्मोस मिसाइलों को खरीदने का इच्छुक है, जिसके प्रस्तावों पर बातचीत जारी है।
तेजस पर लगा रखा है पूरा ध्यान
रिपोर्ट के मुताबिक गोब्बी ने कहा कि भारत और अर्जेंटीना के बीच द्विपक्षीय संबंध 2019 में रणनीतिक साझेदारी तक बढ़ चुके थे और तब से दोनों पक्ष रक्षा और सुरक्षा साझेदारी को बढ़ाने की दिशा में काम कर रहे हैं। इसी के तहत अर्जेंटीना ने पहली बार भारत के स्वदेशी तेजस हल्के लड़ाकू विमान को खरीदने में रुचि दिखाई है। गोब्बी ने आगे कहा कि अर्जेंटीना की वायुसेना के ध्यान में तेजस हवाई जहाज हैं। भारत और अर्जेंटीना के बीच तेजस की खरीदारी पर बातचीत आगे बढ़ रही है। हमने हेलीकॉप्टर के रखरखाव को लेकर एचएएल से समझौता किया है।
अर्जेंटीना के पायलटों ने उड़ाया विमान
इस साल की शुरुआत में अर्जेंटीना की वायुसेना ने तेजस लड़ाकू विमानों के आकलन और मूल्यांकन के लिए पायलटों और विशेषज्ञों की एक टीम भारत भेजी थी। अर्जेंटीना के पायलटों ने इस विमान को भी उड़ाया था। राजदूत ने आगे कहा कि टीन इस क्षेत्र में भारत की औद्योगिक और तकनीकी क्षमता से बेहद प्रभावित थी। हालांकि उन्होंने कहा कि इस डील के फाइनल न होने में ब्रिटेन के लगे पुर्जे रोड़ा हैं। यही बात भारत आए अर्जेंटीना के रक्षा मंत्री ने भी कही थी।
ब्रिटिश पुर्जों से दिक्कत
भारत की कंपनी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक लिमिटेड ने तेजस विमान को बनाया है। लेकिन इसमें कई देशों के पुर्जे लगे हैं। इसमें ब्रिटिश पुर्जे लगे हैं, जिन्हें हटाने की मांग अर्जेंटीना कर रहा है। भारत भी इसके लिए तैयार है, लेकिन एक बार 16 विमानों की डील होने के बाद ही जरूरी बदलाव किए जाएंगे। उन्होंने आगे कहा कि, ‘अर्जेंटीना भारत को सैन्य अड्डे के विकास के लिए जरूरी उपकरण खरीदने का नया भागीदार और स्रोत के तौर पर देख रहा है। इसलिए रक्षा उद्योग में सहयोग पर बहुत चर्चा है’

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Jyoti Bala

By News Thikhana

Senior Sub Editor

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